आपातकाल देश के स्वर्णिम इतिहास पर काला धब्बा है : नरेन्द्र मोदी

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देश में 43 साल पहले आपातकाल लागू किए जाने को लेकर कांग्रेस और गांधी परिवार को आड़े हाथ लेते हुए प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने 26 जून को कहा कि एक परिवार के ‘‘स्वार्थी निजी हितों के चलते भारत को जेल में तब्दील कर दिया गया था।” आपातकाल की बरसी पर आयोजित बैठक में श्री मोदी ने कहा कि इस दिन को संविधान और लोकतंत्र की रक्षा के लिए स्वयं को पुन:समर्पित करने के लिए मनाए जाने की जरूरत है।

श्री मोदी ने कहा कि आपातकाल देश के स्वर्णिम इतिहास पर काला धब्बा है। उन्होंने कहा कि सिर्फ आपातकाल लगाने जैसे पाप के लिए कांग्रेस की आलोचना करने की खातिर ही आज काला दिवस नहीं मनाया जा रहा है, बल्कि इस दिन को मनाने का उद्देश्य संविधान और लोकतंत्र की रक्षा के लिए जागरूकता फैलाना भी है।

भाजपा के शासन में संविधान, दलितों और अल्पसंख्यकों के खतरे में होने का ‘‘काल्पनिक डर फैलाने” के लिए कांग्रेस की कटु आलोचना करते हुए मोदी ने कहा कि कांग्रेस कभी नहीं सुधर सकती। उन्होंने कहा, ‘‘निजी हितों को बढ़ावा देने के लिए उन्होंने अपनी ही पार्टी को बर्बाद किया।”

श्री मोदी ने कहा, ‘‘स्वार्थी हितों के लिए कांग्रेस ने विपक्ष के नेताओं को जेल में बंद कर देश को कारागार में बदल दिया था। उनके लिए देश और लोकतंत्र की कोई कीमत नहीं है। अदालत के फैसले के बाद (इंदिरा गांधी) प्रधानमंत्री का पद छोड़ने के बजाए आपातकाल लगा दिया गया। यह लोग संविधान की रक्षा करने की बात कैसे कर सकते हैं।” उन्होंने कहा, ‘‘जब किशोर कुमार जी ने उनके लिए (कांग्रेस के लिए) गाने से इनकार कर दिया तो, रेडियो पर उनके गाने बजाने नहीं दिए जाते थे।”

श्री मोदी ने कांग्रेस पर लोकसभा में 400 से घटकर महज 44 सीटों पर सिमटने के बाद ईवीएम और भारत निर्वाचन आयोग की आलोचना करने के लिए भी निशाना साधा। उन्होंने कहा, ‘‘उन्होंने हालिया कर्नाटक चुनाव के बाद ईवीएम पर सवाल नहीं उठाए।” उन्होंने उच्चतम न्यायालय के मौजूदा प्रधान न्यायाधीश के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव लाने के लिए भी कांग्रेस की आलोचना की।

श्री मोदी ने कहा, ‘‘उन्होंने (गांधी परिवार) कभी कल्पना भी नहीं की होगी कि उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप लगेंगे और वह जमानत पर बाहर रहेंगे। इसलिए, कांग्रेस ने प्रधान न्यायाधीश के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव लाने का फैसला लिया।”

प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार संविधान की रक्षा करने और लोकतांत्रिक मूल्यों को बनाये रखने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा, ‘‘संविधान सिर्फ एक किताब नहीं है, बल्कि वह आम जनता की आशाओं और आकांक्षाओं को पूरा करने का जरिया है।”

श्री मोदी ने आपातकाल के खिलाफ आवाज उठाने के लिए इंडियन एक्सप्रेस के रामनाथ गोयनका और कुलदीप नैयर तथा स्टेट्समैन अखबार की प्रशंसा की। उन्होंने कहा, ‘‘उनमें से कई हमारे समर्थक भी नहीं हैं। नैयर हमारे आलोचक हैं, लेकिन उन्होंने लोकतंत्र के लिए लड़ाई लड़ी।”